इंदौर सड़क हादसा दुखद : मुख्यमंत्री डॉ. यादव बोले, अब नहीं होगी ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति

डॉ. यादव ने दोषियों के विरूद्ध की सख्त कार्रवाई
पुलिस उपायुक्त यातायात को हटाया गया, आठ पुलिस अधिकारी-कर्मचारी किए गए निलंबित
मृतकों के परिजनों को चार-चार लाख रुपये तथा घायलों को एक-एक लाख रुपये की दी जाएगी आर्थिक सहायता
घायलों का पूरा खर्च राज्य शासन करेगा वहन
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने जिला प्रशासन, पुलिस और संबंधित विभागों के अधिकारियों और जनप्रतिनिधियों की संयुक्त बैठक ली
इन्दौर। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि इंदौर में सोमवार की शाम हुई सड़क दुर्घटना बेहद दुखद है। राज्य शासन ने घटना को पूरी गंभीरता के साथ लिया है। दोषियों के विरूद्ध सख्त कार्रवाई की गई है। घटना की पुर्नरावृति भविष्य में नहीं हो, इसके पूरे इंतजाम किए जा रहे हैं। घटना की जांच अतिरिक्त मुख्य सचिव गृह द्वारा कराई जा रही है। जांच के आधार पर आगे और भी कार्रवाई की जाएगी। डॉ. मोहन यादव ने मृतकों के प्रति शोक संवेदना व्यक्त करते हुए कहा कि मृतकों के परिजनों को चार-चार लाख रुपये की आर्थिक सहायता दी जाएगी। साथ ही घायलों को एक-एक लाख रुपये की मदद दी जाएगी। घायलों के इलाज का पूरा खर्च राज्य शासन द्वारा वहन किया जाएगा। घटना के दौरान बचाव कार्य करने वालों को सम्मानित किया जाएगा।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने आज इंदौर के विभिन्न अस्पतालों में पहुँचकर घायलों से मिलने के पश्चात कलेक्टर कार्यालय में जिला प्रशासन, पुलिस और संबंधित विभागों के अधिकारियों और जनप्रतिनिधियों की संयुक्त बैठक ली। बैठक में उन्होंने कहा कि यह घटना विचलित करने वाली बेहद दु:खद है। मैं इस घटना से स्वयं व्यथित हूं। मुझे रातभर बैचेनी रही, मैं ठीक से सो भी नहीं पाया। आज के सारे कार्यक्रम रद्द कर सीधे इंदौर पहुँचा और घायलों से मिलने विभिन्न अस्पतालों में गया। उनके स्वास्थ्य की जानकारी ली। चिकित्सकों से चर्चा कर उन्हें उपलब्ध कराये जा रहे इलाज के बारे में भी जानकारी ली। घायलों का बेहतर से बेहतर इलाज कराने के निर्देश दिए। घायलों के इलाज में कोई कमी नहीं रखी जाएगी। उन्होंने कहा कि सरकार घटना को लेकर पूर्णतः गंभीर है। घटना की पुनर्रावृति नहीं हो, इसके लिए सभी इंतजाम किए जा रहे हैं। अतिरिक्त मुख्य सचिव को इस संबंध में परीक्षण कर अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए गए है। इस संबंध आवश्यक प्रबंधन जैसे ड्रोन, अनियंत्रित वाहनों को रोकने की व्यवस्था, यातायात नियंत्रण आदि के बारे में भी रिपोर्ट देने को कहा गया है। संसाधन और सुविधाओं में कोई कमी नहीं रखी जाएगी। एलिवेटेड ब्रिज सहित अन्य निर्माण की संभावनाएं भी पता करने के निर्देश दिए गए। उन्होंने सुझाव देने के लिए जल्द ही जनप्रतिनिधियों, जिला प्रशासन, पुलिस और नगर निगम सहित अन्य संयुक्त बैठक आयोजित करने के भी निर्देश दिए।
मृतकों के परिजनों और घायलों को मिलेगी आर्थिक सहायता
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि घटना दुखद है। उन्होंने कहा कि मृतकों के परिजनों को चार-चार लाख रूपये की तथा घायलों को एक-एक लाख रुपए की आर्थिक सहायता दी जाएगी। घायलों के इलाज का पूरा खर्चा राज्य सरकार द्वारा वहन किया जा रहा है।
दोषियों के विरूद्ध सख्त कार्रवाई
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने घटना को पूर्णत: गंभीरता से लेते हुए दोषियों के विरूद्ध सख्त कार्रवाई की है। पुलिस उपायुक्त यातयात अरविन्द तिवारी को हटाकर पुलिस मुख्यालय भोपाल में अटैच करने के निर्देश दिए। इसी तरह प्रथम दृष्टया दोषी पाये जाने पर आठ पुलिस अधिकारी-कर्मचारियों को निलंबित किया गया है। इनमें सुदेश सिंह (सहायक पुलिस आयुक्त), प्रेम सिंह (प्रभारी एएसआई बिजासन प्रभारी), चन्द्रेश मरावी (प्रभारी सूबेदार सुपर कोरिडोर चौराहा प्रभारी), दीपक यादव (निरीक्षक सुपर कोरिडोर से एरोड्रम प्रभारी) तथा ड्यूटी पर तैनात सभी चार कांस्टेबल शामिल है।
मदद करने वाले होंगे सम्मानित- कराई जाएगी घटना की जांच
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि कान्सटेबल पंकज यादव और आटो रिक्शा चालक अनिल पिता लालसिंह कोठारी सहित अन्य को अच्छा काम करने के लिये सम्मानित किया जायेगा। उन्होंने अतिरिक्त मुख्य सचिव गृह को घटना की विस्तृत जाँच कर रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए।
बैठक में जल संसाधन मंत्री तुलसीराम सिलावट, महापौर पुष्यमित्र भार्गव, विधायक रमेश मेंदोला, गोलू शुक्ला, श्रीमती मालिनी गौड़, पूर्व विधायक सुदर्शन गुप्ता तथा आकाश विजयवर्गीय, अनुसूचित जाति वित्त विकास निगम के अध्यक्ष सावन सोनकर, सफाई कामगार आयोग के अध्यक्ष प्रताप करोसिया, सुमित मिश्रा, श्रवण चावड़ा सहित अन्य जनप्रतिनिधि मौजूद थे।
इस अवसर पर अतिरिक्त मुख्य सचिव शिव शेखर शुक्ला, संभागायुक्त डॉ. सुदाम खाड़े, पुलिस कमिश्नर संतोष कुमार सिंह, कलेक्टर शिवम वर्मा, नगर निगम आयुक्त दिलीप यादव सहित जिला प्रशासन और पुलिस के अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।



