कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिए हैंगिंग बोर्ड बनाकर लोगों को जागरूक कर रही स्वयंसेवी संस्था
दुर्ग। जिले के कलेक्टर डाॅ. सर्वेश्वर नरेंद्र भूरे से छत्तीसगढ़ स्वच्छता जन जागरूकता अभियान के अघ्यक्ष श्री रवि नायर तथा अन्य पदाधिकारियों ने मुलाकात कर कोरोना संक्रमण के रोकथाम के लिए संस्था द्वारा किए जा रहे कार्यों की जानकारी दी।
संस्था के सदस्यों ने बताया कि संस्था द्वारा जिले के सभी पुलिस थानों, अस्पतालों, बैंकों, नगर निगम कार्यालय, शहर के सभी भीड़ वाले इलाकों, शहर के शासकीय और अशासकीय वाहनों तथा शहर के सभी चिन्हांकित स्थानों पर बैनर, पोस्टर, स्टीकर, टेबल बोर्ड, हैंगिंग बोर्ड व सेल्यूट बोर्ड लगाकर जनता को कोरोना संक्रमण से बचाव के संबंध में जागरूक करने का प्रयास किया जा रहा है।
श्री नायर के बताया कि सभी पुलिस थाना, अस्पतालों, बैंको व नगर निगम कार्यालय के गेट के पास कोरोना के माॅडल के साथ कोविड फाइटर्स के लिए सम्मान बोर्ड वाला प्रतीक चिन्ह लगाया जायेगा। कलेक्टर ने संस्था के सदस्यों को शुभकामनाएं दी। उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण से रोकथाम के लिए संस्था द्वारा किया जा रहा प्रयास सराहनीय है। कलेक्टर से भेंट के दौरान संस्था के संयोजक श्री जी. एस. ठाकुर, राजेश जोशी व बी. एन. पाणिग्राही मौजूद थे।
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सुबह का आगाज योग से, शाम का समापन अक्षर ज्ञान से
क्वारंटीन सेंटरों में क्वारंटीन अवधि का उचित उपयोग करने किए जा रहे नवाचार
इसी बीच 1100 पौधे लगाएं जा रहे क्वारंटीन केंद्रों में, यादगार निशानियां होंगी क्वारंटीन के दिनों की
दुर्ग। अपने गांव लौट आए प्रवासी श्रमिकों का क्वारंटीन पीरिएड पूरी तरह उनके लिए उपयोगी हो, इसके लिए ग्रामीण क्षेत्रों में क्वारंटीन केंद्रों में अनेक नवाचारी प्रयोग किए जा रहे हैं। कोरोना संक्रमण ने यह सिखाया है कि प्रतिरोधक क्षमता बहुत अच्छी रखनी है और यह प्राचीन भारतीय यौगिक पद्धति के पालन से संभव है इसलिए इन केंद्रों में सुबह से योगा और प्राणायाम कराया जा रहा है। विनायकपुर में रोजगार सचिव सुश्री कामिनी ने बताया कि यहां सुबह से ही प्राणायाम और योग कराया जाता है। यहां हाईस्कूल में क्वारंटीन सेंटर बनाया गया है और पूरा शेड्यूल बना दिया गया है। यहां भोपाल से लौटे कीर्ति नारायण ने बताया कि सुबह से क्वारंटीन सेंटर में योग कराया जाता है। इसके बाद ही नाश्ता होता है। उन्होंने बताया कि चैदह दिनों में यह पूरी तरह से सिस्टम में आ जाएगा और हम लोग इसे हमेशा के लिए अपना लेंगे। योग करने के बाद काफी स्फूर्ति मन में आती है। गोपाल ने बताया कि सभी को योग करना बहुत अच्छा लगता है। यहां आने के बाद कई ऐसे आसन सीखे जिसके बारे में पता नहीं था। योग करने से हमें बड़ा लाभ यह होगा कि बीमार कम पड़ेंगे और इलाज का खर्च भी कम हो जाएगा। उल्लेखनीय है कि क्वारंटीन केंद्रों में व्यवस्थाओं की मानटिरिंग के लिए अधिकारियों की नियुक्ति की गई है। इनकी नियमित रिपोर्ट उच्चाधिकारियों को भेजी जाती है। ग्राम पंचायत झींट में क्वारंटीन पीरिएड में रह रहे ताम्रश्वर ने बताया कि मेरा क्वारंटीन पीरिएड पूरा हो गया है। मुझे किसी तरह की दिक्कत नहीं हुई। उल्लेखनीय है कि क्वारंटीन सेंटर में रह रहे लोगों की स्किल मैपिंग भी कराई जा रही है ताकि हुनरमंद लोगों की पूरी पहचान हो सके। इनका डाटाबेस कई तरह से उपयोगी होगा। इसे उद्योगजगत के लोगों के साथ भी साझा किया जा रहा है। उदाहरण के लिए झीट के क्वारंटीन सेंटर में रह रहे 9 लोग प्लंबर हैं। अब इस प्रकार के डाटाबेस होने की वजह से हुनरमंद और नियोक्ता दोनों के बीच दूरी कम हो पाएगी। इस बीच क्वारंटीन सेंटर में रह रहे लोगों ने पौधरोपण का कार्य आरंभ किया। विभिन्न क्वारंटीन केंदों में पौधे रोपे जा रहे हैं। लगभग ग्यारह सौ पौधे रोपे जा रहे हैं। ये पौधे लाकडाउन पीरिएड की याद दिलाएंगे और हमेशा के लिए लाकडाउन के दौरान की स्मृति याद दिलाएंगे। कहीं साक्षरता की अलख भी जल रही है। राजपुर की हीराबाई क्वारंटाइन सेंटर में पहुंचने से पहले अक्षरों की दुनिया से नावाकिफ थी, चैदह दिनों में हीराबाई अक्षरों की चमकती दुनिया से वाकिफ हुई। पूरे धमधा ब्लाक के क्वारंटीन केंद्रों में यह कार्रवाई की गई।
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बर्ड वाचिंग के गुर सीखेंगे बच्चे, प्रकृति के बनेंगे मितान
पर्यावरण संरक्षण एवं संवर्धन के लिए स्कूली बच्चों को प्रेरित करने के
लिए वन मितान कार्यक्रम का होगा आयोजन
दुर्ग। पर्यावरण को संजोने आने वाली पीढ़ी को पर्यावरण से जोड़ना बेहद आवश्यक है। इसके लिए एक नवाचारी प्रयोग वन विभाग द्वारा किया जाएगा। लगभग 120 बच्चों का समूह जंगल में टैंट में एक दिन का हाल्ट करेगा। यहां फारेस्ट विभाग के ट्रेनर बच्चों को जंगल के जानवरों के बारे में, पक्षियों के बारे में बताएंगे। वे यह बताएंगे कि किस प्रकार पारिस्थितिकी का संरक्षण करना मानवता के लिए उपयोगी होगा। जंगल में अलग-अलग तरह के पक्षियों की आवाजें, उनके आवास, उनके समूह में रहने का तरीका, खानपान की विधि आदि बताई जाएगी। कैंप का समय माइग्रेटरी बर्ड का समय होगा, इसलिए उनके डिटेल्स भी बताए जाएंगे। इसमें फारेस्ट विभाग के प्रमुख अधिकारियों के साथ राजू वर्मा जैसे पक्षी विशेषज्ञ भी बच्चों को पक्षियों के बारे में तथ्य साझा करेंगे। आज कलेक्टर डाॅक्टर सर्वेश्वर नरेंद्र भूरे की अध्यक्षता में इस संबंध में बैठक हुई। यहां डीएफओ श्री केआर बढ़ाई ने विस्तार से प्रोजेक्ट की जानकारी दी और बताया कि ये प्रोजेक्ट किस तरह बच्चों की अभिरुचि जगाने में सहायक हो सकता है। उल्लेखनीय है कि स्कूली विद्यार्थियों में वन, वन्य प्राणी एवं पर्यावरण संरक्षण के प्रति संवेदनशीलता विकसित करने हेतु वन मितान कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा। जिसके तहत कक्षा 6वीं से 12वीं के छात्र-छात्राओं को प्राकृतिक वातावरण का अनुभव प्रदान कर उन्हें इसके संरक्षण के लिए जागरुक किया जाएगा।
कार्यक्रम का उद्देश्य- वन मितान कार्यक्रम का उद्देश्य विद्यालयों के छात्र-छात्राओं को वन वन्य प्राणी एवं पर्यावरण की वन मितान बनाकर उन्हें इसके संरक्षण हेतु प्रेरित करना है। इच्छुक विद्यार्थियों को नेचुरल वाॅलेंटियर फोर्स के रूप में विकसित करना है साथ ही विभाग एवं विभागीय अधिकारियों के कार्य उत्तरदायित्वों एवं चुनौतियों से इन विद्यार्थियों को अवगत कराना है।
विद्यालय एवं विद्यार्थियों का चयन- विद्यालय एवं विद्यार्थियों का चयन एवं निर्धारित प्रक्रिया के तहत किया जाएगा। ऐसे विद्यार्थी जो पर्यावरण के प्रति अभिरूचि रखते हो। विद्यार्थी का चयन वन्य प्राणी पक्षी इत्यादि की समान्य जानकारी के आधार पर होगा। चयनित विद्यार्थी का स्वास्थ्य परीक्षण किया जाएगा। शिविर हेतु कक्षा 6वीं से 12वीं तक के विद्यार्थियों को चनित किया जा सकता हैं किन्तु प्राथमिकता के आधार पर 8वीं एवं 12वीं के विद्यार्थी को सर्वप्रथामिकता दी जाएगी। प्रत्येक परिक्षेत्र में 120 विद्यार्थी का चयन किया जाकर दो चरणों में 60-60 विद्यार्थी हेतु वन मितान कार्यक्रम किया जाएगा।
शिविर स्थल का चयन- प्रशिक्षण सह जागरूकता शिविर का आयोजन वन्य परिक्षेत्र में स्थित प्राकृतिक सौन्दर्य के स्थल पर किया जाएगा। शिविर का चयन इस प्रकार से किया जाएगा कि विद्यालय से 25 से 30 किलोमीटर के परिक्षेत्र में स्थित हो।
गतिविधियाॅ- वनमितान शिविर एक दिन का होगा। जिसमें विभिन्न प्रकार की गतिविधियाॅ को शामिल किया गया है। शिविर दिवस पर विद्यार्थियों को पक्षी दर्शन, वन्य प्राणी दर्शन, सफारी, नौकायान, वन भ्रमण कराया जाएगा। प्राकृतिक पथ भ्रमण, प्रकृति की पाठशाला, स्थल पर विद्यमान वाणिकी गतिविधियों की जानकारी देने के साथ ही वन एवं वन्य प्राणी एवं पर्यावरण के महत्व से रूबरू कराया जाएगा। जिज्ञासा समाधान व चर्चा, परिचर्चा, वनाचार, प्रश्नोत्तरी का आयोजन किया जाएगा। शिविर के आयोजन को ध्यान में रखते हुए साफ-सफाई, भोजन, सुरक्षा स्वास्थ्य, सुरक्षा उपलब्ध कराई जाएगी।
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प्रशासन ने घोषित किए कंटेन्मेंट जोन
दुर्ग। जिला के तहसील दुर्ग के नेवईभाठा नगर पालिक निगम रिसाली, महेश काॅलोनी फुलगांव नगर पालिक निगम दुर्ग, वार्ड 19 कैंप-1, नगर पालिक निगम भिलाई, सतनामी पारा जागृति विद्यालय के पास, वार्ड-28 छावनी एवं सेक्टर-6 सी मार्केट नगर, नगर निगम पालिक भिलाई में नए कोरोना पॉजिटिव केस पाए जाने के परिपेक्ष्य में परिशिष्ट-1 में दर्शायें अनुसार क्षेत्रों को कन्टेनमेंट जोन घोषित किया गया है। कन्टेनमेंट जोन उक्त चिन्हांकित क्षेत्र अंतर्गत सभी दुकानें एवं वाणिज्यिक प्रतिष्ठान बंद रहेंगे। प्रभारी अधिकारी द्वारा कन्टेनमेंट जोन में घर पॅहुच सेवा के माध्यम से आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति की जाएगी। कन्टेनमेंट जोन के अंतर्गत सभी प्रकार के वाहनों के आवागमन पर प्रतिबन्ध रहेगा। मेडिकल इमरजेंसी को छोड़कर अन्य किन्ही भी कारणों से घर से बाहर निकलना प्रतिबंधित रहेगा। कन्टेनमेंट जोन की निगरानी हेतु लगातार पुलिस पेट्रोलिंग की जाएगी। जिला चिकत्सालय एवं स्वास्थ्य अधिकारी द्वारा सम्बंधित क्षेत्र में स्वास्थ्य की निगरानी एवं निर्देशानुसार सैंपल इत्यादि जाॅच हेतु लिया जाना सुनिश्चित किया जायेगा।
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क्वारेंटाइन अवधि पूर्ण नहीं करने पर मिलेगा दण्ड
दुर्ग। कोरोना वायरस (कोविड-19) के संक्रमण से बचाव एवं रोकथाम हेतु जिले में लाॅकडाउन प्रभावशील है, जिसके तहत् बाहर से आये हुए व्यक्तियों को क्वारंटाईन किया जा रहा है। जिन व्यक्तियों को होम क्वारंटाईन में रखा गया है, यदि वह क्वारंटाईन अवधि पूर्ण किए बिना, नियमों का उल्लंघन करते हैं, तो उनके विरूद्ध भारतीय दण्ड संहिता की धारा 188 के अंतर्गत 6 महीने की सजा अथवा एक हजार रूपये का जुर्माना अथवा दोनों से दण्डनीय होगा।
इसके अतिरिक्त आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 की धारा 51 के तहत 1 वर्ष का कारावास एवं अर्थदंड से दंडनीय होगा। यदि ऐसे कृत्य में उक्त व्यक्ति के परिवार द्वारा सहयोग किया जाता है परिवार के सदस्यों के विरुद्ध भी इसी प्रकार दंडनीय कार्यवाही की जावेगी। यह आदेश तत्काल प्रभावशील होगा।