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गुणवत्ता के साथ तेज गति से पूरे हों निर्माण कार्य

पाटन ब्लॉक में चल रही विभागीय गतिविधियों की समीक्षा की प्रभारी सचिव श्री सिद्धार्थ कोमल परदेसी ने

गौठान को बनाये आजीविका मूलक गतिविधियों का केंद्र

सुगम सड़कों पर दीवाली के तुरंत बाद आरम्भ हो जाएगा काम

 

       दुर्ग। जिले के प्रभारी सचिव श्री सिद्धार्थ कोमल परदेसी ने आज पाटन ब्लॉक में जिला तथा ब्लॉक स्तर अधिकारियों की बैठक ली। बैठक में उन्होंने विभागीय योजनाओं के क्रियान्वयन एवं निर्माण कार्यों की प्रगति की समीक्षा की। उन्होंने कहा कि नरवा, गरुवा, घुरूवा, बाड़ी शासन की प्राथमिकता की योजना है। यहां गौठान के प्रारंभिक उद्देश्य वाले कार्यों के साथ आजीविकामूलक केंद्र बनाने की दिशा में भी कार्य करें। उन्होंने कहा कि गोधन न्याय योजना के क्रियान्वयन की नियमित मॉनिटरिंग करें, वर्मी कम्पोस्ट के उत्पादन पर और विपणन की दिशा में कार्य करें। उन्होंने कहा कि जैविक खाद के तेजी से उत्पादन से रासायनिक खाद पर निर्भरता कम होगी और यह प्रगतिशील खेती की दिशा में बड़ा कदम होगा। उन्होंने कहा कि  कृषि एवं पशुधन विभाग का अमला गौठान का नियमित निरीक्षण करें। यहां पर एक पंजी रखें और किये गए कार्य का ब्यौरा दर्ज करें। साथ ही गौठान में लगाए जाने वाले कैम्प की तिथि भी डिस्प्ले करें। कलेक्टर डॉ. सर्वेश्वर नरेंद्र भुरे ने बताया कि इसके लिए तिथि निर्धारित की गई है और नोडल अधिकारी इसकी निरंतर मॉनिटरिंग कर रहे हैं।

       प्रभारी सचिव ने कहा कि जनता की सुविधाओं को ध्यान में रखते हुए सुगम सड़क पर काम किया जाना है। इसके लिए जो योजनाएं स्वीकृत की गई हैं उन्हें दीवाली के बाद आरम्भ कर दें तथा तय समयावधि में काम पूरा करें। इस दौरान मुख्यमंत्री के ओएसडी श्री आशीष वर्मा भी मौजूद रहे। उन्होंने बताया कि 20 गांवों में शमशान तक जाने वाली सड़कों की जरूरत है। कलेक्टर ने कहा कि इन पर भी काम किया जाएगा। उन्होंने धान खरीदी केंद्रों तक पहुंचने वाली सड़कों के शीघ्रता से निर्माण के लिए भी कहा। प्रभारी सचिव ने हॉर्टिकल्चर यूनिवर्सिटी की प्रगति की समीक्षा भी की और 18 महीनों में इसका काम पूरा करने के निर्देश दिए। साथ ही उन्होंने यहां एडमिशन और सेटअप की प्रगति की जानकारी भी ली।

       उन्होंने कहा कि धान खरीदी केंद्रों में लोगों की सुविधा का पूरा ध्यान रखें। बारदानों की कमी नहीं होनी चाहिए। यहां नोडल अधिकारियों का नंबर भी डिसप्ले करें।

       प्रभारी सचिव ने कहा कि जर्जर स्कूलों का प्रस्ताव दें, साथ ही जहां माइनर रेनोवेशन की जरूरत है उसका प्रस्ताव भी दें। प्राइमरी स्कूल में क्लास वन को प्ले स्कूल की तरह विकसित करें। बच्चे जब पहली बार स्कूल आते हैं वो फीलिंग बहुत खास होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि बच्चों को अपने परिवेश के बारे में अधिकाधिक बताना चाहिए। उनकी जिज्ञासा को पूरा करना, उनके भीतर कौतूहल जगाना शिक्षा का सबसे असल उद्देश्य है। उन्होंने कहा कि आंगनबाड़ी की इमारतें भी अच्छी हों, इनके परिसर भी अच्छे हों। इसके लिए भी प्रस्ताव भेजें।

       मुख्यमंत्री सुपोषण अभियान की निरंतर मॉनिटरिंग हो। कार्यकर्ता गृह भेंट के माध्यम से निरंतर बच्चों के पोषण पर नजर रखें। उन्होंने स्वास्थ्य सुविधाओं की स्थिति की समीक्षा भी की। उन्होंने कहा उन्होंने कहा कि इसकी बेहतरी के लिए जो भी प्रस्ताव आते हैं। उन पर विचार किया जाएगा। उन्होंने कहा कि रिक्त पदों की भर्ती शीघ्र कर ली जाए, किसी भी तरह की दिक्कत होने पर शासन से संपर्क कर इसका समाधान करें। जिला पंचायत सीईओ श्री सच्चिदानंद आलोक ने विस्तार से ब्लॉक में चल रही ग्रामीण विकास की गतिविधियों की जानकारी दी।

       इस दौरान डीएफओ श्री के. आर बढ़ाई, एसडीएम, श्री विनय पोयाम और सीईओ श्री मनीष साहू  सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।

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