पीएफ कटौती के लिए वेतन सीमा 15000 से 21 हजार में संशोधन से किसको फायदा-नुकसान
- पेंशनभोगियों का दावा सेवानिवृत्त कर्मचारियों के लिए यह बिल्कुल भी उपयोगी नहीं।
सूचनाजी न्यूज, दिल्ली। कर्मचारी भविष्य निधि संगठन-ईपीएफओ (Employees Provident Fund Organisation (EPFO)) क्या वास्तव में वेतन सीमा बढ़ाने जा रहा है। साल 2025 में कर्मचारियों को इसका लाभ मिलेगा या सिर्फ दावा मात्र है? इसको लेकर पेंशनभोगी क्या सोच रहे हैं। आइए विस्तार से जानते हैं।
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पेंशनभोगी सत्यनारायण हेगड़े का कहना है कि ईपीएफओ हर महीने पीएफ कटौती के लिए 15000 रुपये से लेकर 21000 रुपये तक की वेतन सीमा में संशोधन लाने की कोशिश कर रहा है। और पेंशन योजना में भी संशोधन करने की कोशिश कर रहा है, जिसका एकमात्र उद्देश्य कर्मचारियों के पैसे का लाभ उठाने के लिए उनके पास नकदी प्रवाह बढ़ाना है।
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लेकिन सेवानिवृत्त कर्मचारियों के लिए यह बिल्कुल भी उपयोगी नहीं है। उन्होंने कहा-कुछ श्रम मंत्री और वित्त मंत्री कर्मचारियों के खून के पीछे पड़े हैं। मुझे नहीं लगता कि आगामी बजट में भी 2015 से पहले सेवानिवृत्त कर्मचारियों के लिए 1000 रुपये से बढ़ाकर 7500 रुपये करने का कोई प्रावधान होगा।
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पेंशनर्स ने कहा-मैं वित्त मंत्री से पूछना चाहता हूं कि जब हमारी अपनी मेहनत की कमाई ईपीएफओ (EPFO) के खजाने में सड़ रही है, तो हमें बजट अनुमोदन की आवश्यकता क्यों है। यह मंत्रियों की चालाक चाल है। प्रधानमंत्री जो भी तय करते हैं,वही करते हैं।
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यह केवल दिल्ली चुनाव को सुरक्षित रूप से टालने के लिए है। जैसा कि उन्होंने महाराष्ट्र और हरियाणा के राज्यों के चुनावों के दौरान खेला था। यह केवल प्रधानमंत्री द्वारा निर्देशित नाटक है।
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